मंगल - पृथ्वी, मंगल को भूमि पुत्र भी कहा है। पृथ्वी
में रस है( फलों, पुष्पों, खाद्य प्रदार्थ, व अन्य रस दार
वस्तुएं) पृथ्वी को पाताल से शूकर भगवान लेकर अवतीर्ण हुए,ऐसा शास्त्रों में वर्णन है, पृथ्वी गोल या चपटी है। जलेबी या इमरती गोल या चपटी बनती है,
उसमे भी रस भरा रहता है। भूमि या भूमि से सम्बन्धी
जितने भी कार्य, जिनको मकान नही बनने की समस्या,
मकान खाली करने की समस्या, प्लाट की समस्या नही
बिक रहा हो, लेना हो, बिल्डर जिनका काम नही हो
पा रहा हो, भूमि दलाल, इन सभी लोगों को शूकर देवता
की आराधना अर्थात् मंगलवार को, शूकर को जलेबी
या इमरती अपनी श्रद्धा अनुसार खिलाने से उनका कार्य
सिद्ध होता है। जलेबी या इमरती खा कर सूअर बड़ा
प्रसन्न होता है, वह यह समझता है कि हमने पृथ्वी को
ढूंढ़ ली। सभी भगवान को तो भज लिया, पर जो काम
जिससे लेना है, वह तो वही करेगा।सिर्फ गुरु कृपा केवलं।।
श्री राधे।
Sunday, April 10, 2016
मंगल के उपाय
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