Thursday, October 30, 2014

छींक का मतलब सिर्फ अशुभ नहीं

छींक का मतलब सिर्फ अशुभ नहीं, शुभ
भी है :
कई बार चलते-फिरते हमें छींक आ
जाती है। बड़े-बुजुर्गों के मुंह से आपने कई बार
सुना होगा कि यह अपशकुन लेकर आता है। वैसे सत्य यह है
कि छींक आना एक सामान्य
सी शारीरिक प्रक्रिया है, लेकिन
भारतीय मान्यताओं में छींक
को भी शकुन-अपशकुन
की श्रेणी में रखा गया है।
घर से निकलते हुए यदि छींक आ जाए तो लोग कहते
हैं उस वक्त आप थोड़ी देर घर में ही बैठ
जाएं, क्योंकि यह अशुभ माना जाता है।
घर से निकलते समय छींकने पर कहा जाता है कि आप
जिस कार्य से निकल रहे हैं उसमें बाधाएं आएंगी, लेकिन
एक से अधिक बार छींक आए तो माना जाता है कि कार्य
सफल होने वाला है।
सुबह के समय यदि कोई पूर्व की ओर मुंह करके
हो और उसने छींक की आवाज
सुनी तो कहते हैं कि उन्हें कष्ट झेलना पड़
सकता है। यदि शाम के समय यह सुनाई दे तो अच्छा भोजन
मिलता है।
सोने से पहले या फिर सुबह जगने के तुरंत बाद
यदि छींक आ जाए माना जाता है कि यह कोई अशुभ
संकेत है।
कुछ खरीदते समय यदि छींक आ जाए
तो कहते हैं कि किसी तरह का लाभ होने वाला है।

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